रैम क्या होता है 4 महत्वपूर्ण बातें

रैम क्या होता है, इस लेख में पूरी जानकारी देने वाला हूँ । वो भी बहुत ही आसान तरीका से । जब मैंने ऑनलाइन google पर सर्च कर के देखने की कोशिश की रैम क्या होता है तो मुझे कुछ भी ऐसी जानकारी नहीं मिल सकी । जिससे मैं आसानी से समझ सकूँ कि रैम क्या होता है। 

इसलिए मैंने रैम टॉपिक को चुना और पोस्ट को लिखने का सोचा।  ताकि आप आसान भाषा में समझ सकें RAM के बारे में । मैंने कोई टेक्निकल शब्द का उपयोग नहीं किया है । आपको बहुत ही सरल तरीका से समझाया हूँ ।

खैर मेरा तो काम यही है, कि बहुत ही आसान भाषा में बताना ताकि कोई ज्यादा दिमाग न लगना पड़े ।

वैसे RAM का भी नाम सुनते ही आप सभी को ऐसा लगता होगा कि ये भी बहुत बड़ा टेक्निकल शब्द है । जिसे समझना मुश्किल है । लेकिन मैं आपको विश्वास दे सकता हूँ कि में एक ही वाक्य में समझा सकता हूँ चाहे आप अधिक पढ़े हो या नहीं हों ये बिल्कुल भी मायने नहीं रखता है । तो चलिए देखते हैं आसान तरीका से ।

सभी सॉफ्टवेयर वाला डिवाइस में RAM होता ही है । RAM सॉर्ट फॉर्म में लिखा गया है ।

जैसे :-  Mohan Kumar को MK लिखते हैं । उसी तरह Random Access Memory को RAM लिखते हैं ।

अगर किताबी भाषा में परिभाषा देखे तो होगा । बहुत जल्दी एक्सेस करने वाला मेमोरी है ।

रैम क्या होता है

ये ऐसा मेमोरी होता है, जो आपके फोन में दिखाई नहीं देता है । और इसे सॉर्ट में RAM कहते हैं।

[आपके फोन में एक और मेमोरी होता है जो दिखाई देता है उसे ROM कहते है । इसके बारे में भी पढ़ सकते है rom kya hai.]

इस मेमोरी में कोई भी चीज स्टोर नहीं रहता है । यह एक खेल के मैदान की तरह होता है । जब खेल चालू होगा । तब मैदान खुद खुल जायेगा । और मौदान में खिलाड़ी आ जायेगा । और जब खेल बंद होगा । मैदान खुद ब खुद खाली और बंद हो जाएगा ।

रैम इसी मैदान की तरह होता है । मैदान बड़ा होने से बहुत सारे  खिलाड़ियों को एक साथ मैदान में उतार सकते हैं । उसी तरह रैम साइज बड़ा होने से आप एक साथ बहुत कुछ चला सकते हैं । 

मान कर चलिए अगर मैदान गिला हो तो खेल खेलने वाले खिलाड़ी को दौड़ने में दिक्कत होगी थोड़ा धीरे से दौड़ेगा । उसी तरह अगर रैम बड़ा है लेकिन अच्छा नहीं है तो वो धीरे चलेगा । यहाँ रैम टाइप देखना होता है । किस टाइप का रैम सबसे अच्छा होता है । रैम टाइप क्या होता है ? इसके बारे में पढ़ सकते है ।

जब आप कोई एप्लीकेशन को मोबाइल में चलते हैं तो वह एप्लीकेशन फ़ोन स्टोरेज से कॉपी होकर रैम में आ जाता है और रैम में चलने लगता है ।

सभी मेमोरी में  स्पीड होता है । अगर बाजार से कोई मेमोरी कार्ड खरीदते हैं तो सबसे पहले उसका स्पीड देखते होंगे । ज्यादा स्पीड वाले मेमोरी कार्ड का प्राइस भी ज्यादा होता है । 

ज्यादा स्पीड वाले मेमोरी कार्ड क्यों जरूरी है ?

ज्यादा स्पीड वाले मेमोर कार्ड बहुत ही जरूरी होता है । क्योंकि जब आप अपने मेमोरी कार्ड में कुछ कॉपी कर से सेव करते हैं तो ज्यादा समय लगता है । इसका एक ही कारण है आपका मेमोरी कार्ड स्लो है । 

इसी तरह रैम भी अगर स्लो हो तो क्या होगा ? सोचिए ! आप जो भी ऐप्प खोलेंगे वो स्लो चलेगा । इसलिए  RAM मेमोरी सभी मेमोरी से फ़ास्ट होता है । और RAM का प्राइस भी ज्यादा होता है ।

सबसे बड़ा RAM कितना हो सकता है ?

स्मार्टफोन का बहुत विकास हो चुका है । और कंप्यूटर अब पीछे रह गया है । स्मार्टफोन की बात करें तो आप  2GB, 3GB, 4GB, 6GB ,8GB ,12GB तक रैम देखें होंगे । आपको बता दें कि RAM को अगर ज्यादा GB तक बढ़ते हैं तो उसका प्रॉसेसर भी अपग्रेड होना चाहिए । क्योंकि सभी प्रोसेसर का एक लिमिट होता है रैम साइज सपोर्ट करने का ।

अभी तक का सबसे बड़ा RAM 16GB का है जो samsung के मोबाइल में लगा है ।

RAM का इतिहास

1949-1952 तक रैम की जगह चुम्बकीय कोर मेमोरी का उपयोग होता है । 1960 के बाद इसके जगह अपग्रेड सर्किट रैम आ गया । और कंप्यूटर में रैम का यूज़ होने लगा । 

जब मोबाइल का फ़ीचर्स फ़ोन आया तो उसमें भी लगा था । वह कुछ mb का होता था । लेकिन जब स्मार्टफोन आया तो व्यापक रूप से रैम का यूज़ होने लगा और इसका क्वालिटी भी बढ़ने लगा ।

RAM की स्पीड

ज्यादा RAM वाले मोबाइल लेने से कुछ फायदा नहीं होने वाला है जब तक कि उसकी स्पीड ज्यादा न हो मतलब एक सेकेंड में कितने डेटा को रन करता है । इसी से RAM की स्पीड निर्धारित होती है । जैसे जैसे वैज्ञानिक ने ज्यादा स्पीड वाले RAM को ईजाद किया । वैसे ही उसका नाम रखते चला गया । जैसे LPDDR3, LPDDR 4 इत्यादि । नाम सुने होंगे । 

कौन -कौन से टाइप का RAM होता है । और अभी तक का सबसे ज्यादा स्पीड वाला RAM कौन-सा है इसके बारे में जानने के लिए  मेरे दूसरे पोस्ट पढ़ सकते हैं । RAM का प्रकार


रैम क्या होता है 4 महत्वपूर्ण बातें

Ranjan Kumar

who has been writing about smartphones for the past five years. They write content in both Hindi and English languages. They have a passion for understanding and explaining mobile and technology and enjoy writing about these subjects in simple language that others can understand.

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